Ad Image
Ad Image
चुनाव आयोग: EPIC नहीं तो 12 वैकल्पिक ID प्रूफ से कर सकेंगे मतदान || बिहार विधानसभा चुनाव 25 : 121 सीट के लिए अधिसूचना जारी || गाजा युद्ध विराम की निगरानी के लिए 200 अमेरिकी सैनिक होंगे तैनात || इजरायल और हमास ने किए गाजा शांति योजना पर हस्ताक्षर: राष्ट्रपति ट्रंप || टाइफून मातमो तूफान को लेकर चीन में ऑरेंज अलर्ट, सेना तैयार || हमास बंधकों को करेगा रिहा, राष्ट्रपति ट्रंप ने गाजा पर बमबारी रोकने को कहा || पहलगाम हमले के बाद पता चला कौन भारत का असली मित्र: मोहन भागवत || भारत के साथ व्यापार असंतुलन कम करने का अपने अधिकारियों को पुतिन का आदेश || मेक्सिको की राष्ट्रपति शीनबाम की इजरायल से अपील, हिरासत में लिए मेक्सिको के नागरिकों को जल्दी रिहा करें || शास्त्रीय गायक पद्मविभूषण छन्नूलाल मिश्र का मिर्जापुर में निधन, PM मोदी ने दी श्रद्धांजलि

The argument in favor of using filler text goes something like this: If you use any real content in the Consulting Process anytime you reach.

  • img
  • img
  • img
  • img
  • img
  • img

Get In Touch

मोदी के चीन दौरे के बाद बदला ट्रंप का सुर

विदेश डेस्क, ऋषि राज |

मोदी के चीन दौरे के बाद बदला ट्रंप का सुर, मैं हमेशा मोदी का दोस्त रहूंगा, वह शानदार प्रधानमंत्री हैं...

भारत और अमेरिका के बीच रूस से तेल आयात को लेकर बढ़ते तनाव के बीच अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की खुलकर तारीफ की है। ट्रंप ने कहा कि मौजूदा मतभेदों के बावजूद वह हमेशा मोदी के दोस्त रहेंगे और भारत–अमेरिका संबंध विशेष बने रहेंगे।

भारत पर 50% टैरिफ से बढ़ा तनाव

हाल ही में अमेरिका ने रूस से तेल खरीदने के चलते भारत पर अतिरिक्त 25% टैरिफ लगा दिया, जिससे कुल टैरिफ दर बढ़कर 50% हो गई। ट्रंप प्रशासन का कहना है कि भारत की तेल खरीद रूस को यूक्रेन युद्ध जारी रखने के लिए वित्तीय मदद देती है। इस फैसले से दोनों देशों के बीच व्यापारिक और कूटनीतिक संबंधों में खिंचाव आ गया है।

ट्रंप का नरम रुख: तनाव के इसी माहौल में ट्रंप ने ओवल ऑफिस से बयान दिया। उन्होंने कहा: "भारत और अमेरिका के संबंध बहुत विशेष हैं। मौजूदा तनाव के बावजूद मैं और मोदी दोस्त रहेंगे। वह शानदार प्रधानमंत्री हैं, वह ग्रेट हैं। लेकिन वह फिलहाल जो कर रहे हैं, मुझे वह पसंद नहीं है।” ट्रंप का यह बयान ऐसे समय आया है जब दोनों देशों के बीच व्यापार और रणनीतिक सहयोग पर सवाल उठने लगे हैं।

संबंधों पर असर नहीं

ट्रंप ने स्पष्ट किया कि भारत और अमेरिका के बीच कभी-कभी मतभेद हो सकते हैं, लेकिन इससे रिश्तों की नींव कमजोर नहीं होगी। उन्होंने कहा कि यह “दोस्ताना संबंधों की विशेषता” है कि असहमति के बावजूद साझेदारी कायम रहती है। विशेषज्ञों का मानना है कि ट्रंप का यह बयान भारत को आश्वस्त करने का प्रयास है कि टैरिफ विवाद स्थायी बाधा नहीं बनेगा।

भारत अमेरिका का एक अहम व्यापारिक और रणनीतिक साझेदार है। रक्षा, ऊर्जा और तकनीक के क्षेत्र में दोनों देशों के बीच सहयोग लगातार गहराता रहा है। हालांकि, रूस से भारत की तेल निर्भरता और यूक्रेन युद्ध पर अमेरिकी रुख से यह संतुलन बार-बार चुनौती में आता है।

भारत का तर्क है कि उसकी ऊर्जा ज़रूरतें विशाल हैं और वह किफायती आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए विभिन्न स्रोतों से तेल आयात करता है। वहीं, अमेरिका चाहता है कि उसके सहयोगी देश रूस पर आर्थिक दबाव डालने में उसकी रणनीति का समर्थन करें। टैरिफ विवाद के बीच ट्रंप का यह नरम और दोस्ताना रुख संकेत देता है कि अमेरिका भारत के साथ संबंधों को दीर्घकालिक नजरिए से देख रहा है। प्रधानमंत्री मोदी की तारीफ कर ट्रंप ने यह साफ कर दिया है कि मौजूदा तनाव के बावजूद भारत–अमेरिका साझेदारी मजबूत बनी रहेगी।