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लेफ्टिनेंट कर्नल दीपिका चौहान ने पति को दी अंतिम सलामी, केदारनाथ हेलीकॉप्टर हादसे में गई जान

नेशनल डेस्क, वेरोनिका राय |

अश्रुपूरित विदाई: लेफ्टिनेंट कर्नल दीपिका चौहान ने पति को दी अंतिम सलामी, केदारनाथ हेलीकॉप्टर हादसे में गई जान
उत्तराखंड के केदारनाथ में 15 जून को हुए दर्दनाक हेलीकॉप्टर हादसे ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया। इस हादसे में कई जिंदगियां असमय समाप्त हो गईं, जिनमें से एक थे लेफ्टिनेंट कर्नल (सेवानिवृत्त) राजवीर सिंह चौहान। 47 वर्षीय राजवीर सिंह चौहान की इस हादसे में मृत्यु हो गई। मंगलवार को उनका अंतिम संस्कार राजस्थान की राजधानी जयपुर में पूरे सैन्य सम्मान के साथ किया गया। इस भावुक क्षण में उनकी पत्नी लेफ्टिनेंट कर्नल दीपिका चौहान ने नम आंखों से उन्हें अंतिम विदाई दी।

राजवीर सिंह चौहान भारतीय सेना में एक अनुकरणीय अधिकारी रहे हैं। अपनी सेवा के दौरान उन्होंने कई मुश्किल परिस्थितियों में देश की सेवा की। कुछ समय पहले ही उन्होंने सेना से सेवानिवृत्ति ली थी और रिटायरमेंट के बाद वह सामाजिक कार्यों में जुटे हुए थे। उन्होंने उत्तराखंड के पहाड़ी क्षेत्रों में राहत और पुनर्वास से जुड़ी कई गतिविधियों में भी भाग लिया था। 15 जून को वह निजी यात्रा पर केदारनाथ की ओर जा रहे थे, जब यह हादसा हुआ।


15 जून की सुबह केदारनाथ में श्रद्धालुओं को ले जा रहा एक निजी हेलीकॉप्टर खराब मौसम की चपेट में आ गया। बताया जा रहा है कि घने कोहरे और कम दृश्यता के कारण पायलट को दिशा का अनुमान नहीं हो पाया और हेलीकॉप्टर पहाड़ी से टकरा गया। हेलीकॉप्टर में कुल सात लोग सवार थे, जिनमें से कोई भी जीवित नहीं बचा। हादसे के बाद स्थानीय प्रशासन और एनडीआरएफ की टीम ने तुरंत रेस्क्यू ऑपरेशन शुरू किया, लेकिन तब तक काफी देर हो चुकी थी।


राजवीर सिंह चौहान का पार्थिव शरीर 17 जून को विशेष विमान से जयपुर लाया गया। सैन्य परंपराओं के अनुरूप उन्हें पूरे राजकीय सम्मान के साथ अंतिम विदाई दी गई। उनके पार्थिव शरीर को तिरंगे में लपेटकर सेना के जवानों ने सलामी दी।

अंतिम संस्कार के दौरान उनकी पत्नी लेफ्टिनेंट कर्नल दीपिका चौहान की आंखों से आंसू नहीं रुक रहे थे। उन्होंने अपने पति को सैन्य स्टाइल में सैल्यूट करते हुए विदाई दी। इस भावुक क्षण ने वहां मौजूद हर व्यक्ति की आंखें नम कर दीं। दीपिका चौहान खुद भारतीय सेना में कार्यरत हैं और उन्होंने कहा, “राजवीर ने हमेशा देश को पहले रखा। वह एक योद्धा थे, और योद्धाओं की मौत ऐसे ही होती है — देश की सेवा करते हुए।”


राजवीर सिंह चौहान के निधन पर न केवल सेना के उच्च अधिकारियों, बल्कि देशभर के राजनेताओं, समाजसेवियों और आम लोगों ने भी शोक प्रकट किया। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने ट्वीट कर उन्हें श्रद्धांजलि दी और कहा, “राजवीर सिंह चौहान जैसे सपूतों के बलिदान को देश कभी नहीं भूलेगा। उनके परिवार के साथ मेरी संवेदनाएं हैं।”


राजस्थान सरकार और केंद्र सरकार की ओर से चौहान परिवार को आर्थिक सहायता देने की घोषणा की गई है। रक्षा मंत्रालय ने आश्वासन दिया है कि परिवार को सभी जरूरी सहायता दी जाएगी और दीपिका चौहान को भी उनके कार्यक्षेत्र में विशेष सुविधा दी जाएगी।


इस दर्दनाक हादसे ने पहाड़ी इलाकों में हेलीकॉप्टर सेवाओं की सुरक्षा पर भी गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। विशेषज्ञों का कहना है कि मौसम की अनदेखी और तकनीकी खामियों को समय रहते नहीं सुधारा गया तो इस तरह की घटनाएं बार-बार होंगी। DGCA (नागरिक उड्डयन महानिदेशालय) ने इस हादसे की जांच के आदेश दे दिए हैं और हेलीकॉप्टर सेवा कंपनियों को सुरक्षा मानकों की कड़ी पालना करने का निर्देश दिया गया है।


लेफ्टिनेंट कर्नल (सेवानिवृत्त) राजवीर सिंह चौहान की मृत्यु न केवल उनके परिवार, बल्कि पूरे देश के लिए एक अपूरणीय क्षति है। उन्होंने जिस समर्पण के साथ देश की सेवा की, वह हमेशा याद रखा जाएगा। उनके बलिदान को सलाम करते हुए पूरा राष्ट्र उनके प्रति कृतज्ञता प्रकट करता है। जय हिंद।